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कारगिल के रणबाकुरों को श्रद्धांजलि, उत्तराखंड में वीरों के लिए नई राह

उपनल से विदेशों में भेजे जाएंगे पूर्व सैनिक, चमोली-नैनीताल में बनेंगे सैनिक विश्राम गृह

कारगिल विजय दिवस पर धामी सरकार की सैनिकों को सौगात

अनुग्रह राशि, स्टाम्प ड्यूटी और यात्रा सुविधा में भी दी बड़ी राहतें

देहरादून, 26 जुलाई:  कारगिल विजय दिवस पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने उत्तराखंड के पूर्व सैनिकों के लिए कई महत्वपूर्ण घोषणाएं कीं। देहरादून के गांधी पार्क स्थित शहीद स्मारक पर पुष्पांजलि अर्पित कर उन्होंने कहा कि राज्य सरकार अब पूर्व सैनिकों को “उपनल” के माध्यम से विदेशों में रोजगार दिलाएगी। इस योजना में 50 प्रतिशत पद नागरिकों के लिए भी आरक्षित होंगे। फिलहाल उपनल के तहत राज्य के 22,500 लोगों को रोजगार मिल रहा है और उनकी नियोजन प्रक्रिया को नियमित करने का कार्य जारी है।

मुख्यमंत्री ने चमोली जिले के कालेश्वर में ईसीएचएस और सैनिक विश्राम गृह तथा नैनीताल में सैनिक विश्राम गृह बनाए जाने की घोषणा करते हुए कहा कि “भारत मां की रक्षा में बलिदान देने वाले जवानों को देश कभी नहीं भूल सकता।” उन्होंने ऑपरेशन सिंदूर का जिक्र करते हुए कहा कि अब भारत दुश्मन को उसी की भाषा में जवाब देता है और देश की बेटियों के सिंदूर से खेलने वालों का नामोनिशान मिटा देता है।

कारगिल युद्ध में उत्तराखंड के 75 जवान हुए थे शहीद

मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि 1999 के कारगिल युद्ध में उत्तराखंड के 75 जवान शहीद हुए थे, जिनमें से 31 केवल देहरादून क्षेत्र से थे। यह राज्य के शौर्य और बलिदान की पहचान है। उन्होंने कहा कि कारगिल की वादियों में गूंजता हुआ भारत के जवानों का पराक्रम आज भी प्रेरणा देता है।

कारगिल युद्ध : वीरता की अमर गाथा

अवधि 3 मई से 26 जुलाई 1999 (60 दिन)

स्थान कारगिल, द्रास, बटालिक सेक्टर (J&K)

भारत के शहीद 527 से अधिक

पाकिस्तानी सैनिक हताहत लगभग 1300

भारतीय अभियान ऑपरेशन विजय

परिणाम भारत की निर्णायक विजय

धामी सरकार की सैनिकों के लिए प्रमुख घोषणाएं:

  • शहीद आश्रितों को अनुग्रह राशि ₹10 लाख से बढ़ाकर ₹50 लाख
  • परमवीर चक्र प्राप्त सैनिकों को ₹1.5 करोड़ की सहायता राशि
  • सरकारी नौकरी हेतु आवेदन सीमा 2 वर्ष से बढ़ाकर 5 वर्ष
  • रोडवेज में वीरता पुरस्कार प्राप्त सैनिकों को निःशुल्क यात्रा
  • पूर्व सैनिकों को ₹25 लाख तक की संपत्ति पर 25% स्टाम्प ड्यूटी में छूट

सैनिक कल्याण मंत्री गणेश जोशी ने कहा कि उत्तराखंड कारगिल जैसे युद्धों में अग्रिम पंक्ति में रहा है। उन्होंने बताया कि कारगिल युद्ध में राज्य के 75 जवान शहीद हुए, जो हमारी मातृभूमि के लिए अमर बलिदान है। राज्य सरकार ने अब तक 37 शहीद परिवारों के आश्रितों को सरकारी नौकरी भी दी है।

इस अवसर पर राज्यसभा सांसद नरेश बंसल, विधायक खजान दास, विधायक सविता कपूर, दायित्वधारी विनोद उनियाल, सैनिक कल्याण सचिव दीपेंद्र चौधरी, निदेशक ब्रिगेडियर अमृत लाल (से.नि), एमडी उपनल ब्रिगेडियर जे.एस. बिष्ट (से.नि), डीएम सविन बंसल, एसएसपी अजय सिंह, अन्य सैन्य अधिकारी, पूर्व सैनिक और शहीद परिवारजन भी उपस्थित रहे।

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